
संदर्भित विषय पर ” दि टेन्थ रिडल ” पुस्तक का हुआ विमोचन
रिपोर्ट :- जी एल वेदांती

लखनऊ – भारतीय नागरिक परिषद के तत्वावधान मे “ बेटी बचाओ – संदर्भ – कन्या भ्रूणहत्या ” विषय पर आयोजित संगोष्ठी मे सशक्त नारी – सशक्त भारत की जोरदार पैरवी की गई और यह मत व्यक्त किया गया कि नारी को सशक्त किये बिना भारत के सर्वांगीण विकास और महाशक्ति बनने के सपने को पूरा करना संभव नही है ।
इस अवसर पर मुख्य अतिथि भारत सरकार के आवास राज्य मन्त्री कौशल किशोर द्वारा जाने – माने युवा लेखक सपन सक्सेना की पुस्तक ” दि टेन्थ रिडल ” का विमोचन किया गया । संगोष्ठी को संबोधित करते हुए मुख्य अतिथि रहे केंद्रीय राज्य मंत्री (आवास एवं शहरी विकास) कौशल किशोर ने कहा कि कन्या भ्रूण हत्या एक गम्भीर समस्या है और यह हम सबका सामाजिक दायित्व है कि इसका निराकरण करने के लिये हम कुछ ठोस कदम उठाये । उन्होंने कहा कि केन्द्र सरकार ने महिला सशक्तीकरण हेतु बेटी बचाओ – बेटी पढ़ाओ का अभियान चला रखा है जिसके सार्थक परिणाम आ रहे है । उन्होंने भारतीय नागरिक परिषद द्वारा इस हेतु चलाये जा रहे जागरूकता अभियान की सराहना की ।
विशिष्ट अतिथि मुस्लिम लॉ बोर्ड की अध्यक्ष शाइस्ता अम्बर ने कहा कि समय आ गया है जब महिलाओ को अपने अधिकारो के लिए सामाजिक रूढ़ियो को तोड़कर सड़क पर आना ही चाहिए । तीन तलाक पर मिली कामयाबी महिलाओ के संघर्ष की एक अनूठी दास्तान है । विशिष्ट अतिथि राज्य महिला आयोग की उपाध्यक्ष सुषमा सिंह द्वारा भी इस कुरीति पर अपने विचार प्रस्तुत किये गये और गहन प्रतिक्रिया व्यक्त की गयी ।
पुस्तक के लेखक सपन सक्सेना ने बताया कि उन्होंने इस विषय पर काफ़ी गम्भीरता से विचार किया और उन्हें यह पुस्तक लिखने की प्रेरणा मिली । गहन अध्ययन के उपरांत , आदिशक्ति को अर्पित करते हुए उन्होंने यह पुस्तक लिखी जिसमे पौराणिक ग्रंथो मे निहित संकेतो के माध्यम से रहस्य खुलते है । कहानी यह संदेश देती है कि समाज मे बेटियो का महत्वपूर्ण स्थान है और सभी को बेटियो के प्रति निष्ठा और गर्व के साथ उनका पालन पोषण करना चाहिये ।
मुख्य अतिथि , विशिष्ट अतिथि और अन्य सभी उपस्थित विद्वान और गणमान्य जनो ने इस बात पर प्रसन्नता व्यक्त की कि सपन सक्सेना जैसे युवा वर्ग भी सामाजिक समस्याओ पर गम्भीरता पूर्वक विचार कर रहे है और समाज को एक सकारात्मक संदेश देने का प्रयास कर रहे है ।
इस अवसर पर भारतीय नागरिक परिषद की महामंत्री श्रीमती रीना त्रिपाठी ने कहा कि एक ओर हमारे धर्म ग्रंथो मे लिखा है कि ” यत्र नार्यस्तु पूज्यन्ते रमन्ते तत्र देवता ” वही आज भी न केवल पिछड़े ग्रामीण क्षेत्रो मे अपितु महानगरो मे भी भ्रूण परीक्षण और कन्या भ्रूण हत्या की घटनाओ मे वृद्धि ही हो रही है । उन्होंने कहा कि ऐसे विकास का क्या अर्थ है जिसमे गर्भ मे दम तोड़ती अजन्मी कन्याओ की सिसकती आहे सुनाई देती हो ।
रीना त्रिपाठी ने बताया कि वीरांगना झलकारी बाई का जन्मदिवस कल 22 नवम्बर को था और लखनऊ मे जच्चा – बच्चा अस्पताल का नाम झलकारी बाई के नाम पर ही है अतः इस अवसर पर उनका पुण्य स्मरण अत्यन्त आवश्यक है । उनकी याद मे मुख्य अतिथि , विशिष्ट अतिथियो सहित सभी गणमान्य व्यक्तियो को स्मृति चिन्ह भेंट किये गये । श्रीमती रीना त्रिपाठी ने बताया क़ि भारतीय नागरिक परिषद एक ग़ैर – राजनीतिक संस्था है और समाज के विभिन्न प्रासंगिक विषयों पर विचार विमर्श करते हुये सर्वांगीण विकास के लिये प्रयासरत है ।
भारतीय नागरिक परिषद के अध्यक्ष चन्द्र प्रकाश अग्निहोत्री ने मुख्य अतिथि , विशिष्ट अतिथि और सभी गण्यमान्य लोगो को इस संगोष्ठी हेतु साधुवाद देते हुए संगोष्ठी का समापन व्याख्यान दिया ।
संगोष्ठी मे मुख्यतया एच एन पाण्डेय , राजीव सिंह , वाई एन उपाध्याय , ए पी सिंह , उत्तम सक्सेना , डॉ मिथलेश सिंह , निशा सिंह , प्रेमा जोशी , सुमन दुबे , रेनु त्रिपाठी , अजय द्विवेदी , अजय कटियार , शिव प्रकाश दीक्षित , अनुपम सिंह , जितेन्द्र सहित अन्य गणमान्य उपस्थित रहे ।